समाज में युवाओं की भूमिका,
यह जानकी किचन की बात है! जो आज भी हमारे देश के राज्य उत्तराखंड
के उधम सिंह नगर के शहर बाज़पुर में है! इस तरह के खेल के बाद भी, वे जो भी देश के
लोग थे, अनाथों के अनुसार, जैसे लोग की चिन्ता है। उन्होंने कहा कि लोगों के खान-पान
पर ध्यान दिया जाएगा। लोगों को भी चिंता है। घर नहीं हैं। चित्र कोई नहीं है। यह जिला
उत्तराखंड उधम सिंह नगर बाज़पुर की है। खाने पर ₹5 में भोजन करने के लिए अच्छा है।
यह कोई भी,जिस्मत, गुरुद्वीप, रामली है। विशेष नाम जानकी किचन है। यह संस्थान 9 अक्टूबर
2021 को लागू होगा। अब तक संस्थान का कार्य जारी है । ️ प्रतिदिन️ प्रतिदिन️ प्रतिदिन️
प्रतिदिन️ प्रतिदिन️ , इस संस्थापन में विशेषज्ञता प्राप्त है। संक्रमित
व्यक्ति, संक्रमित, संक्रमित व्यक्ति, किसी भी व्यक्ति का व्यक्ति। इस संस्थापन के
लिए इस प्रकार की शिक्षा का अधिकार इस संस्थान को समान रूप से पसंद था। यह संस्थान
है। लोगों के लिए है।
सुबह 6:00 बजे खाना
बनाना शुरू करें। कॉमिंग काम कर रहे हैं। और 6:00 बजे से 11:00 बजे तक परिवार तैयार
हो जाएगा। दोपहर 12:00 बजे 2:00 बजे तक भोजन करने के लिए संस्थान में 2:00 बजे तक भोजन
करें। . अलग-अलग अलग-अलग प्रकार के होते हैं। रोज़ी बनाए रखने वाले हैं। और जो बचा
खाना है। इंसानों को। या गाय भैंसे को ढेर किया जाता है। इस संस्था के द्वारा कई लोगों
को भूखे पेट नहीं रहना पड़ता है। तीन प्रकार की फसलें, चावल, अनाज के दाने के रूप में
खराब हो जाते हैं। खाना खाते हैं। खुद के बाद खुद से अलग हो गए हैं।,
बड़े संगठन भी मदद
करेंगे। खर्चा खुद करेंगे।
यह रामलीला संस्थान एक और समाजसेवी कार्य करता
है।
यह संस्था हर साल 51 कन्याओं का विवाह करवाती
है। इस तरह से बार-बार बोली जाने वाली लड़की या लड़की को ₹1 भी. संबंध रामलीला करवाती
है। प्रेम संबंध रखने वाली लड़की है। बाद में बैठने के लिए उपयुक्त हैं। लड़की और बारातियों
का खाने की व्यवस्था भी संस्था द्वारा की जाती है। संस्थान को एक दिन में 51 बाराटे
की निकासी की जाती है। 51 शादियां करवा चुका है। इस संस्थान के बारे में सोचती है।
और यह महान संस्थान है। उत्तराखंड राज्य में हर किसी को चाहिए।
यह संस्था भी अपना काम खुद से
कर रही है। साल हर 51 कन्या की भी करवाती है।!!!!
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